मध्य प्रदेश के मंत्री विजय शाह द्वारा की गई विवादित टिप्पणी के मामले में सुप्रीम कोर्ट की सख्त टिप्पणी के बाद प्रदेश सरकार हरकत में आ गई है। सोमवार देर रात एक अहम फैसला लेते हुए राज्य सरकार ने इस मामले की जांच के लिए तीन सदस्यीय विशेष जांच दल (SIT) का गठन किया। यह दल अब मंत्री के बयान की गहराई से पड़ताल करेगा। इस विशेष जांच टीम में तीन अनुभवी आईपीएस अधिकारी शामिल किए गए हैं, जो अपने-अपने क्षेत्रों में विशिष्ट अनुभव रखते हैं। SIT का नेतृत्व सागर रेंज के आईजी प्रमोद वर्मा को सौंपा गया है।
प्रमोद वर्मा (IG, सागर रेंज):
2001 बैच के आईपीएस अधिकारी प्रमोद वर्मा को इस जांच दल की कमान सौंपी गई है। नक्सल उन्मूलन अभियानों और साइबर अपराध की जांच में उनका लंबा अनुभव रहा है। अनुशासनप्रिय और कठोर प्रशासनिक रवैये के लिए पहचान रखने वाले प्रमोद वर्मा को केंद्रीय गृह मंत्रालय की ओर से उत्कृष्ट सेवा पदक से भी सम्मानित किया जा चुका है।
कल्याण चक्रवर्ती (DIG, SAF):
मध्य प्रदेश कैडर के 2010 बैच के अधिकारी कल्याण चक्रवर्ती वर्तमान में भोपाल स्थित पुलिस मुख्यालय में विशेष सशस्त्र बल (SAF) के उप महानिरीक्षक के रूप में कार्यरत हैं। वे G-20 जैसे अंतरराष्ट्रीय आयोजनों में सुरक्षा की जिम्मेदारी निभा चुके हैं। उनकी गिनती एक दक्ष रणनीतिकार और कानून-व्यवस्था के अनुभवी अफसरों में होती है।
वाहिनी सिंह (SP, डिंडौरी):
2014 बैच की आईपीएस अफसर वाहिनी सिंह इस जांच दल की इकलौती महिला सदस्य हैं। बच्चों की तस्करी और नशीले पदार्थों की तस्करी के विरुद्ध कई महत्वपूर्ण कार्रवाइयों के लिए वह जानी जाती हैं। डिजिटल साक्ष्य जुटाने और कोर्ट में उन्हें प्रभावशाली तरीके से प्रस्तुत करने में भी उनकी विशेषज्ञता है।