मध्य प्रदेश पुलिस महकमे में एक बार फिर नई व्यवस्था लागू की गई है। पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) कैलाश मकवाना ने सभी पुलिस अधिकारियों और कर्मचारियों को आदेशित किया है कि वे शासकीय कार्यक्रमों और सामान्य भेंट के दौरान सांसदों और विधायकों को वर्दी में सैल्यूट कर उनका अभिवादन करें।
डीजीपी ने आदेश में कहा ये
डीजीपी के निर्देश में कहा गया है कि माननीय सांसदों और विधायकों द्वारा भेजे गए पत्रों का जवाब भी समयबद्ध तरीके से और अधिकारी के हस्ताक्षर के साथ भेजा जाए। साथ ही यदि कोई माननीय जनप्रतिनिधि कार्यालय में भेंट करने पहुंचे तो उनसे प्राथमिकता के आधार पर मिलकर उनकी समस्याओं का विधिसम्मत निराकरण किया जाए।
सिर्फ आमने-सामने के मुलाकातों तक ही बात सीमित नहीं है। डीजीपी ने यह भी स्पष्ट किया कि जब भी कोई विधायक या सांसद दूरभाष पर किसी जनसमस्या को लेकर संपर्क करें, तो अधिकारी उन्हें शिष्टता से सुनें और औपचारिक, विधिक प्रक्रिया के तहत उचित उत्तर दें। पुलिसकर्मियों से अपेक्षा की गई है कि वे संवाद में पूरी मर्यादा और गरिमा बनाए रखें।
पहले भी जारी किया आदेश
गौरतलब है कि मध्य प्रदेश में इस प्रकार का आदेश कोई नया नहीं है। इससे पहले भी 2004, 2007, 2011, 2017, 2019 और 2021-22 में इस तरह के दिशा-निर्देश जारी किए जा चुके हैं। समय-समय पर पुलिस बल को यह याद दिलाया जाता रहा है कि जनप्रतिनिधियों के साथ व्यवहार में शिष्टाचार और संवैधानिक सम्मान प्राथमिकता होनी चाहिए।