सुल्तानपुर में चर्चित डॉ घनश्याम तिवारी हत्याकांड के आरोपी विजय नारायण सिंह की गोली मारकर हत्या कर दी गई। 9 मार्च को विजय नारायण जमानत पर बाहर आया था। रविवार शाम को अपने दोस्तों के साथ बार में बैठा था। इसी दौरान उसका दोस्तों में से किसी युवक से विवाद हो गया। विजय नारायण का जिस युवक से विवाद हुआ उसे वहां से भगा दिया गया। लेकिन कुछ देर बाद वह लौट कर आया और विजय नारायण, उसके साथियों पर तोबड़तोड़ फायरिंग करने लगा। घटना में विजय को सीने और पेट में गोली लगी। आनन-फानन में लोग अस्पताल लेकर गए। जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया। वहीं उसका एक दोस्त भी घायल हो गया। जिसका इलाज चल रहा है। घटना कोतवाली नगर के दरियापुर तिराहे के पास की है। गोली की आवाज से वहां दहशत फैल गई। बार में बैठे लोग इधर-उधर भागने लगे। पुलिस को सूचना दी गई। हत्या का आरोप अंबेडकरनगर के महरुआ के रहने वाले अजय सिंह शेरावत पर लगा है। एसपी सोमेन वर्मा ने कहा- पुलिस की 4 टीमें उसे पकड़ने के लिए लगातार दबिश दे रही हैं। जल्द ही उसे गिरफ्तार कर लिया जाएगा।
आनन-फानन में दोनों को घायल हालत में
रविवार देर शाम दरियापुर तिराहे के पास स्थित होटल पल्लवी के पास लोगों को फायरिंग की आवाज सुनाई दी। लोग मौके पर पहुंचे तो देखा कि शहर के नारायणपुर निवासी विजय नारायण सिंह लहूलुहान हालत में पड़ा है। बगल में उसका साथी शास्त्री नगर निवासी अनुज शर्मा भी घायल अवस्था में था। विजय के सीने और पेट में कई गोलियां लगी थीं। आनन-फानन में दोनों को घायल हालत में राजकीय मेडिकल कॉलेज लाया गया, जहां डॉक्टर ने विजय को डेड घोषित कर दिया। वहीं अनुज को ट्रॉमा सेंटर लखनऊ रेफर कर दिया गया। घटना के चश्मदीद भल्लू ने बताया, मैं घटना के समय विजय नारायण सिंह के साथ था। दोपहर एक बजे से दीपक मिश्रा, मैं, विजय और अनुज बार में बैठे थे। इसी दौरान अजय सिंह शेरावत वहां आए और विजय नारायण से अभद्रता करने लगे।
पुलिस ने गिरफ्तार किया था
23 सितंबर 2023 की शाम नारायणपुर में डॉ घनश्याम तिवारी की पीट-पीटकर हत्या की गई थी। इस मामले में डॉ की पत्नी की तहरीर पर भाजयुमो जिलाध्यक्ष चंदन नारायण सिंह के चचेरे भाई अजय नारायण सिंह समेत अज्ञात के विरुद्ध केस दर्ज हुआ था। पुलिस ने अगले दिन अजय के पिता जगदीश नारायण सिंह को गिरफ्तार कर जेल भेजा था। सातवें दिन उसके चचेरे भाई विजय नारायण सिंह को पुलिस ने गिरफ्तार किया था। उसके बाद 9 अक्टूबर को अजय नारायण और उसके ड्राइवर ने पुलिस चौकी में सरेंडर किया था। हाल ही में विजय नारायण हाईकोर्ट से जमानत पर बाहर आया था। वहीं अजय नारायण और उसके पिता जगदीश नारायण जेल में बंद हैं। डॉक्टर घनश्याम सिंह ने शास्त्री नगर मोहल्ले में अजय नारायण सिंह के पिता जगदीश नारायण से दो बिस्वा जमीन का बैनामा लिया था। जमीन पर कब्जा करने से पहले अजय उनसे गुंडा टैक्स के रूप में 5 लाख की डिमांड कर रहा था। डिमांड नहीं पूरा करने पर उसने उन्हें बहाने से अपने बुलाया और साथियों के साथ मिलकर उसकी पीट-पीटकर हत्या कर दी। इसके बाद ई-रिक्शे में लादकर घर भेज दिया था।