अपराधी कोई भी हो मगर योगी सरकार में पुलिस से उसका बच पाना असम्भव है. बस्ती को लेडी डॉन की तलाश पुलिस को कई साल से थी, बस्ती पुलिस को छकाने वाली लेडी डॉन छिपकर अपना कारोबार चला रही थी. मगर अंत में पुलिस ने उसे पकड़ ही लिया और सलाखों के पीछे भेज दिया है. पुलिस व एसटीएफ की संयुक्त टीम ने गबन के आरोप में आठ माह से फरार चल रही 25 हजार की इनामिया पूर्व प्रधान विजय लक्ष्मी चौधरी को गिरफ्तार कर लिया है.
डीएम के निर्देश पर तत्कालीन जिला विकास अधिकारी
यह मामला वाल्टरगंज थाने के पोखरभिटवा गांव का है, सल्टौआ गोपालपुर विकास खंड के पोखरभिटवा ग्राम पंचायत के बिशुनपुर निवासी अजीत प्रताप सिंह ने जिलाधिकारी से वर्ष 2015 से 2020 तक ग्राम पंचायत में विकास कार्यों में अनियमितता बरते जाने व सरकारी धन का गबन कर लिए जाने की शिकायत की थी. डीएम के निर्देश पर तत्कालीन जिला विकास अधिकारी, जिला समाज कल्याण अधिकारी, जिला पंचायत राज अधिकारी व तहसीलदार भानपुर की चार सदस्यीय टीम ने स्थलीय निरीक्षण कर भौतिक सत्यापन किया था.
आश्वासन पर उच्च न्यायालय से विवेचना के दौरान
इस मामले में मनरेगा व प्रथम राज्य वित्त से लगभग 10 लाख रुपये के गबन की पुष्टि हुई थी. इसके बाद तत्कालीन सहायक विकास अधिकारी पंचायत शिव कुमार लाल श्रीवास्तव की तहरीर पर पुलिस ने तत्कालीन ग्राम विकास अधिकारी राजन चौधरी, रमाकांत वर्मा, निशात अफरोज, मनरेगा तकनीकी सहायक अशोक कुमार चौधरी व पूर्व प्रधान विजय लक्ष्मी चौधरी के विरुद्ध 19 फरवरी 2023 को गबन का मुकदमा दर्ज किया था. पुलिस ने राजन चौधरी को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था, जबकि ग्राम विकास अधिकारी रमाकांत वर्मा, निशात अफरोज (अब सेवानिवृत्त) और तकनीकी सहायक अशोक कुमार चौधरी ने जांच में सहयोग के आश्वासन पर उच्च न्यायालय से विवेचना के दौरान गिरफ्तारी पर स्टे प्राप्त कर लिया था.
एएसपी दीपेंद्र चौधरी ने बताया कि
इस विवेचना के दौरान पूर्व प्रधान विजय लक्ष्मी चौधरी न तो कभी पुलिस के समक्ष प्रस्तुत हुईं न ही जांच में कोई सहयोग किया. लगातार फरार रहने के कारण उनके ऊपर 25 हजार का इनाम भी घोषित हुआ था. एएसपी दीपेंद्र चौधरी ने बताया कि पुलिस व एसटीएफ लखनऊ की संयुक्त टीम ने आरोपित पूर्व प्रधान को बुधवार की रात मुंडेरवा से गिरफ्तार कर लिया. बताया कि आज उन्हें न्यायालय के समक्ष पेश किया गया और जेल भेज दिया.