सीएम योगी आदित्यनाथ भाजपा के लिए चुनाव प्रचार की औपचारिक शुरुआत होली के बाद करेंगे। शुरुआती चरण में इसका स्वरूप संगठनात्मक संवाद का होगा। 27 मार्च से सीएम प्रबुद्ध सम्मेलनों के जरिए चुनावी अजेंडे को धार देंगे। अप्रैल के पहले सप्ताह से चुनावी रैलियों का दौर शुरू होगा। 16 मार्च को लोकसभा चुनाव की घोषणा हुई है। इसके पहले सरकार और संगठन योजनाओं, संपर्क व संवाद अभियान के जरिए अनौपचारिक प्रचार का एक चरण पूरा कर लिया था। चुनाव की घोषणा के ठीक पहले वाले हफ्ते में ही 18 जिलों में लोकार्पण व शिलान्यास कार्यक्रमों के जरिए योगी ने जनसंवाद के क्रम को बढ़ाया था। इन 18 जिलों में आगरा, इटावा, गोरखपुर, जौनपुर, चंदौली, वाराणसी, देवरिया, कुशीनगर, आजमगढ़, बरेली, रामपुर, फर्रुखाबाद, उन्नाव, अम्बेडकरनगर, अयोध्या, गोंडा, बलरामपुर, सिद्धार्थनगर हैं। पीएम नरेंद्र मोदी भी प्रदेश के हर हिस्से में अलग-अलग आयोजनों के जरिए पहुंच चुके हैं।
पहले दो चरण की सीटों पर फोकस
सूत्रों के अनुसार, योगी 27 से 31 मार्च तक प्रबुद्ध सम्मेलनों में हिस्सा लेंगे। भाजपा की चुनाव प्रबंधन टीम ने इसका जो खाका तैयार किया है उसमें उन सीटों को प्राथमिकता में शामिल किया गया है, जिसमें पहले दो चरणों में चुनाव होने हैं। प्रबुद्ध सम्मेलनों में योगी की भागीदारी की शुरुआत भगवान कृष्ण की जन्मस्थली मथुरा से होगी। विकास के साथ ही आस्था के पिच पर चुनावी बैटिंग करने उतरी भाजपा के सियासी अजेंडे में मथुरा की भी अहमियत है। कृष्ण की धरती से रामलला की प्राण प्रतिष्ठा व राममंदिर के निर्माण की उपलब्धि पर जब योगी बात करेंगे तो उन आकांक्षाओं को भी बल मिलेगा, जिसके तार मथुरा से जुड़े हैं। समाज में माहौल बनाने वाले प्रबुद्धजनों के बीच अजेंडा सेट कर भाजपा के लिए इसे नीचे तक पहुंचाना आसान होगा। इसी दिन योगी मेरठ और गाजियाबाद में भी सम्मेलन करेंगे। योगी होली के बाद पांच दिनों में 15 प्रबुद्ध सम्मेलनों में शामिल होंगे। हर दिन तीन लोकसभा क्षेत्रों में पहुंचने की कार्ययोजना तैयार की गई है। इनमें 28 को बिजनौर, मुरादाबाद, अमरोहा, 29 को शामली, मुजफ्फरनगर, सहारनपुर, 30 को बागपत (मोदीनगर), बुलंदशहर, गौतम बुद्धनगर और 31 को बरेली, रामपुर, पीलीभीत में लोकसभाएं होंगी।
योगी का यूपी पर ही अधिक फोकस
भाजपा ने चुनाव प्रचार की जो रणनीति तैयार की है, उसके हिसाब से योगी प्रदेश की लगभग हर लोकसभा सीट पर पार्टी की सियासी उम्मीदों को और मजबूत करने के लिए पहुंचेंगे। दूसरे राज्यों में भी योगी की चुनाव प्रचार के लिए मांग है। वहां, भी उनकी रैलियां तय की जा रही हैं। हालांकि, भाजपा ने इस बार यूपी में मिशन-80 का लक्ष्य तय किया है, इसलिए योगी का यूपी पर ही अधिक फोकस होगा। चुनावी तैयारियों के लिहाज से भाजपा ने 80 लोकसभा सीटों को 20 क्लस्टर में बांटा है। हर क्लस्टर में पीएम नरेंद्र मोदी की रैलियां होंगी।