कहते हैं मेहनत और लगन हो तो कोई भी सपना अधूरा नहीं रहता। इसे हकीकत में बदल कर दिखाया है प्रयागराज की शक्ति दुबे ने, जिन्होंने यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा 2024 में टॉप रैंक हासिल कर पूरे प्रदेश का नाम रोशन कर दिया। खास बात यह है कि शक्ति दुबे उत्तर प्रदेश पुलिस में कार्यरत एक दरोगा (सब इंस्पेक्टर) की बेटी हैं।
दारोगा की बेटी बनी आइएएस टॉपर
शक्ति दुबे के पिता देवेंद्र कुमार दुबे, इस समय प्रयागराज ट्रैफिक पुलिस में डीसीपी के पेशकार पद पर तैनात हैं। बलिया मूल निवासी यह परिवार फिलहाल प्रयागराज के नैनी इलाके के सोमेश्वर नगर में रहता है। जैसे ही बेटी की सफलता की खबर आई, घर पर बधाई देने वालों की भीड़ लग गई। मीडिया, पड़ोसी और शुभचिंतक सभी इस उपलब्धि पर गर्व जता रहे हैं।
संघर्ष और मेहनत से लिखी गई सफलता की कहानी
शक्ति दुबे का यह यूपीएससी में तीसरा प्रयास था। उन्होंने इलाहाबाद विश्वविद्यालय से बीएससी और बीएचयू से पीजी में गोल्ड मेडल हासिल किया था। शुरुआती कोचिंग दिल्ली में की और फिर प्रयागराज लौटकर घर पर ही जमकर तैयारी की। मां प्रेम दुबे बताती हैं कि शक्ति रोज 18 घंटे तक पढ़ाई करती थी।
पिता देवेंद्र दुबे कहते हैं, “मैंने कभी बेटे-बेटी में फर्क नहीं किया। पुलिस की नौकरी में रहते हुए जो भी संभव था, वह किया। आज बेटी की मेहनत रंग लाई है।”
एक परिवार, एक लक्ष्य
शक्ति तीन भाई-बहनों में दूसरे नंबर पर हैं। बड़ा भाई आशुतोष दुबे और छोटी बहन प्रगति दुबे भी सिविल सेवा की तैयारी कर रहे हैं। शक्ति की इस उपलब्धि ने न सिर्फ परिवार को गौरवांवित किया है, बल्कि प्रदेश भर की उन बेटियों को प्रेरणा दी है, जो सीमित संसाधनों में बड़े सपने देखती हैं।