जहां वर्दी को सुरक्षा की गारंटी माना जाता है, वहीं उसी वर्दीधारी का मोबाइल और खाते से पैसे उड़ जाना किसी को भी चौंका सकता है। शामली पुलिस लाइन में ऐसा ही एक वाकया सामने आया है, जिसने सुरक्षा के दावों को कटघरे में खड़ा कर दिया है।
ये है मामला
कांवड़ ड्यूटी से लौटे मेरठ पीएसी में तैनात सिपाही असलम खान, थकान के साथ पुलिस लाइन स्थित अपने बैरक पहुंचे। रोज की तरह मोबाइल चार्जिंग पर लगाया और कुछ राहत के पल लेने लगे। लेकिन उन्हें नहीं पता था कि बैरक के भीतर ही एक नजर उनके फोन पर टिकी हुई है।
कुछ ही देर बाद मोबाइल गायब मिला। और यहीं से शुरू हुआ एक और झटका—फोन चोरी के साथ-साथ उनके बैंक अकाउंट से ₹56,000 से ज्यादा की रकम भी साफ हो गई। तीन अलग-अलग ट्रांजैक्शन के ज़रिए ये रकम निकाली गई: पहले ₹15,000, फिर ₹20,000 और अंत में ₹21,580।
उठ रहे सवाल
असलम खान ने तुरंत कोतवाली में शिकायत दी। पुलिस जांच कर रही है, लेकिन सवाल बड़ा है कि अगर पुलिस लाइन में तैनात सिपाही का सामान ही सुरक्षित नहीं, तो बाहर की सुरक्षा व्यवस्था पर कैसे भरोसा किया जाए?
एएसपी संतोष कुमार सिंह ने बताया कि मामला दर्ज कर लिया गया है और तकनीकी साक्ष्यों की मदद से जल्द सच्चाई सामने लाने की कोशिश की जा रही है।